जानिए बच्चेदानी में गांठ होने पर क्या नहीं खाना चाहिए – Yaami IVF

जानिये Yaami Fertility Center के विशेषज्ञ से कि बच्चेदानी की गाँठ से कैसे निपटा जा सकता है तथा बच्चेदानी में गांठ होने पर क्या नहीं खाना चाहिए

आजकल की भागदौड़ भरी ज़िन्दगी में सेहत को नज़रंदाज़ करना, अस्वथ्य आदतें अपनाना और unhealthy खाना पीना बहुत ही common है, ऐसे में महिलाओं और पुरुषो दोनों में ही स्वास्थय सम्बन्धी कई समस्याएं देखने को मिलती हैं।

ऐसी ही कुछ समस्याओं में से एक महिलाओं में बच्चेदानी की गाँठ या Fibroids की समस्या। यह समस्या महिलाओं में काफी सामान्य है और इसके कई कारण हो सकते हैं, जैसे हार्मोनल असंतुलन, अनुवांशिक कारण, या जीवनशैली।

आम तौर पर Fibroids को गभीर नहीं माना जाता न ही इनसे कोई भी गंभीर समस्या होती है परन्तु 1% मामलों में बच्चेदानी की गाँठ का आकार अनावश्यक रूप से बढ़ने लगता है या लंबे समय तक नज़रंदाज़ करने से वो कैंसर का रूप भी ले सकती हैं।

यदि बच्चेदानी की गाँठ से होने वाले लक्षणों को शुरूआती तौर पर ही पहचान लिया जाये तथा नज़रंदाज़ न करके छोटी-छोटी चीजों पर ध्यान दिया जाये  जैसे खानपान तथा lifestyle तो इसे गंभीर होने से रोका जा सकता है।

Yaami Fertility Center की विशेषज्ञ डॉक्टर स्वाति का कहना है किअगर आपके बच्चेदानी में गांठ है, तो यह बेहद ज़रूरी है कि आप अपने खानपान पर ध्यान दें। सही आहार न केवल इस समस्या को नियंत्रित कर सकता है, बल्कि आपके स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में भी मदद करता है। वहीं, कुछ ऐसे खाद्य पदार्थ हैं जिन्हें खाने से आपकी समस्या बढ़ सकती है।

आज इस ब्लॉग के माध्यम से हम यही जानेंगे कि ऐसे कौनसे बदलाव है जो बच्चेदानी की गाँठ होने पर करने चाहिए तथा बच्चेदानी में गांठ होने पर क्या नहीं खाना चाहिए

1. मैदा से बनी चीज़ें

जब भी सही खान पान की बात आती है तो डॉक्टर द्वारा मैदा से बनी हुई चीजो को त्यागने का परामर्श दिया जाता है।

कारण? 

कारण ये कि मैदा को refine करने में सारे पोषक तत्त्व जैसे फाइबर और विटामिन निकल जाते हैं, फिर इसे खाने से आपको उर्जा तो मिलती है लेकिन पोषण नहीं। मैदा में फाइबर की भी कमी होती है, जिससे यह आसानी से पचता नहीं है। 

इसलिए यदि आपको बच्चेदानी में गाँठ की समस्या है तो मैदा से बनी हुई चीजें जैसे ब्रेड, बिस्कुट, केक, पिज़्ज़ा, आदि खाने से बचना चाहिए। इतना ही नहीं मैदा आपके इन्सुलिन level में भी वृद्धि करती है जिससे Hormonal Imbalance तथा अन्य समस्याएं जैसे गाँठ में वृद्धि भी हो सकती है। 

इसलिए जब कभी भी आपके मन में ये सवाल उत्पन्न हो कि बच्चेदानी में गांठ होने पर क्या नहीं खाना चाहिए, मैदा आपका पहला जवाब होगा। 

2. उड़द की दाल

यदि पाचन तंत्र की बात करें तो उड़द की दाल भारी और धीमी पचने वाली होती है। इसका अत्यधिक सेवन पाचन तंत्र पर दबाव डाल सकता है, जिससे गैस, एसिडिटी, और पेट फूलने जैसी समस्याएँ हो सकती हैं। ऐसे में यदि आपको बच्चेदानी की गाँठ की समस्या है तो आपको और अधिक असहजता महसूस हो सकती है। इसलिए उड़द की दाल के बजाय हलकी और पचने में आसन होने वाली दालों का सेवन करें जैसे मूंग और अरहर। 

3. खट्टे फल और खट्टे खाद्य पदार्थ

खट्टे फल जैसे निम्बू, संतरा, टमाटर और खट्टे खाद्य पदार्थ जैसे अचार, केचप आदि में acid की मात्रा अधिक होती है और ये acidity और पेट में जलन का कारण बनता है। यदि आपको बच्चेदानी में गाँठ है तो खट्टे पदार्थो के सेवन से न सिर्फ आपका दर्द बढ़ सकता है बल्कि सूजन में भी वृद्धि हो सकती है। 

खट्टे फलों की जगह मीठे फल जैसे केला, सेब, या पपीता का सेवन करें।

4. बैंगन और आलू जैसी सब्ज़ियां

बैंगन और आलू जैसी सब्जियां सोलानेसी (Solanaceae) परिवार की सब्ज़ियाँ हैं, अर्थात in सब्जयों में सोलानिन नामक यौगिक पाया जाता है। ये तत्त्व शरीर में  सूजन, गैस, और पाचन समस्याओं का कारण बन सकता है। इसलिए इन सब्जियों का या तो सेवन बिलकुल न करें या फिर सिमित मात्र में करें जिससे आपकी बच्चेदानी की गाँठ की समस्या और अधिक गंभीर न हो।

5. अम्ल बढ़ाने वाले भोजन

अम्लीय भोजन जैसे तला-भुना, मांस, चीनी, और खट्टे खाद्य पदार्थ पेट में अम्ल की मात्रा को बढाते हैं तथा इससे जलन, सूजन, दर्द, तथा acidity जैसी समस्याएं हो सकती हैं। ऐसे में यदि आपको बच्चेदानी में गाँठ है तो अम्लीय भोजन आपकी तकलीफ को और अधिक बढ़ा सकते हैं।

इसलिए बच्चेदानी में गाँठ का अंदेशा है तो हल्के और ताज़ा भोजन का सेवन करें।

6. कैफ़ीन युक्त चीज़ें

कैफीन युक्त पदार्थ जैसे चाय, कॉफ़ी, और सॉफ्ट ड्रिंक्स या कोल्ड ड्रिंक्स में काफी मात्रा में कैफीन मौजूद होता है। कैफीन में मौजूद तत्त्व आपके शरीर में एस्ट्रोजन और अन्य hormonal imbalance का कारण बन सकते है। Hormonal Imbalance से बच्चेदानी की गाँठ की समस्या में वृद्धि हो सकती है साथ ही Fibroids या गाँठ का size भी बढ़ सकता है। 

7. फ़ास्ट फ़ूड

पिछले कुछ वर्षों में युवाओं में फ़ास्ट फ़ूड का चलन बहुत अधिक बढ़ गया है और इसी की वजह से कई तरह की बीमारियों में भी बढ़ोतरी हुई है। फ़ास्ट फ़ूड सुविधाजनक तो होता है परन्तु इसी के साथ ये पोषण की दृष्टि से अक्सर कमज़ोर और स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकते हैं। 

फ़ास्ट फ़ूड में विटामिन, मिनरल्स और फाइबर बहुत ही कम मात्र में होते हैं और इसमें मौजूद ट्रांस फैट आपके शरीर को नुक्सान पहुंचाते हैं। 

फ़ास्ट फूड शरीर में सूजन और हार्मोनल असंतुलन का कारण भी बन सकते हैं। 

8. शराब और धूम्रपान

शराब और धूम्रपान शरीर में टॉक्सिन्स की मात्रा को बढ़ाते हैं, जो बच्चेदानी में गांठ की समस्या को और खराब कर सकते हैं। यह आदतें न केवल फाइब्रॉयड को बढ़ाती हैं, बल्कि आपकी Reproductive Health को भी नकारात्मक रूप से प्रभावित करती हैं।

9. डेयरी और सोया प्रोडक्ट

आम तौर पर दूध और दूध से बने उत्पाद शरीर के लिए बेहद फायदेमंद होते हैं परन्तु यदि आप विशेषज्ञ से जाने कि बच्चेदानी में गांठ होने पर क्या नहीं खाना चाहिए तो जवाब में डेयरी प्रोडक्ट्स जरूर आएगा। 

जी हाँ, फायदेमंद माने जाने वाले dairy products, जैसे दूध, पनीर, और दही, और सोया प्रोडक्ट्स में हार्मोनल सक्रिय पदार्थ होते हैं, जो बच्चेदानी में गांठ की वृद्धि को बढ़ा सकते हैं।

ये आपके शरीर में astrogen की मात्रा को भी बढ़ाते हैं, जिससे फाइब्रॉयड की समस्या गंभीर हो सकती है।

बच्चेदानी की गाँठ कोई गंभीर समस्या नहीं है यदि आप सही खान पान और व्यवस्थित जीवनशैली का पालन करते हैं। महिलाओं के मन में कई बार इस तरह के सवाल आते है कि बच्चेदानी में गांठ होने पर क्या नहीं खाना चाहिए या बच्चेदानी में गाँठ है तो क्या खाना चाहिए।

तो समाधान स्वरुप आप ऊपर दिए खाद्य पदार्थो को ignore करके अपनी समस्या को नियंत्रित कर सकती है। इसके अलावा, ताजे फल, सब्ज़ियां, और साबुत अनाज को अपने आहार में शामिल करें। फिर भी आपको परशानी का सामना करना पड़ रहा है या बच्चेदानी में गाँठ के कारण pregnancy में दिक्कतें आ रही है तो एक बार विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें।

Yaami Fertility की expert team आपकी मदद के लिए हमेशा तैयार है, आज ही अपना free consultation बुक करें।

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